नसरल्लाह की मौत: कश्मीर में प्रदर्शन, आम ईरानी,लेबनान सीरिया की जनता में जश्न का माहौल

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सनातन धर्म को खत्म करने की बात कहने वाला उदय निधि स्टालिन तमिलनाडु का डिप्टी सीएम बना
यह भारत के लिए अच्छे संकेत नहीं है

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भले ही भारत को आर्थिक दृष्टि से दुनिया की तीसरी महाशक्ति बनाने में जुटे हों, लेकिन इन दिनों देश में जो घटनाएं हो रही है, वे भारत के लिए अच्छे संकेत नहीं है। हिमाचल के शिमला से लेकर उत्तर प्रदेश के बरेली तक में अवैध मस्जिदों के निर्माण को लेकर प्रदर्शन हो रहे है तो दिल्ली में झाँसी की रानी लक्ष्मीबाई की प्रतिमा को सुरक्षित स्थान पर स्थानांतरित करने का विरोध हो रहा है। इस बीच इजरायल के हमले में लेबनान की राजधानी बेरूत में चरमपंथी संगठन (अमेरिका इसे आतंकी संगठन मानता है) हिजबुल्लाह के चीफ हसन नसरल्लाह की मौत के बाद हमारे कश्मीर घाटी में प्रदर्शन हो रहे है।

प्रदर्शनकारी काले झंडे सड़कों पर लेकर नसरल्लाह की मौत का विरोध कर रहे हैं।

जम्मू कश्मीर की मुख्यमंत्री रही पीडीपी की नेता महबूबा मुफ्ती भी शोकजदा है। महबूबा ने 29 सितंबर को चुनाव प्रचार नहीं करने का ऐलान किया है। महबूबा के इस निर्णय से जाहिर है कि कश्मीर घाटी में चरमपंथी संगठन हिजबुल्लाह के समर्थक बड़ी संख्या में है। महबूबा को लगता है कि नसरल्लाह के प्रति शोक जताने से विधानसभा चुनाव में फायदा होगा। सब जानते हैं कि कश्मीर में आए दिन आतंकी घटनाएं हो रही है और इनके पीदे हिजबुल्लाह जैसे चरमपंथी संगठनों की ही भूमिका है।

ऐसे संगठनों के तार पाकिस्तान में सक्रिय आतंकी संगठनों से जुड़े हुए हैं। जम्मू कश्मीर में हो रहे विधानसभा चुनाव में नेशनल कॉन्फ्रेंस और पीडीपी जैसे दल चाहते हैं कि कश्मीर के मुद्दे पर पाकिस्तान से वार्ता की जाए। ऐसे दल ही अनुच्छेद 370 की बहाली का वादा भी कर रहे है। ऐसे माहौल में हिजबुल्लाह के समर्थन में कश्मीर घाटी में प्रदर्शन होना भारत के लिए बहुत मायने रखता है। यहां यह उल्लेखनीय है कि मध्यपूर्व में इजरायल के खिलाफ युद्ध में हिजबुल्लाह के मुख्यालय में मौजूद था, तभी इजरायल ने इस स्थान पर बमबारी कर दी। इसी हमले में नसरल्लाह मारा गया।

नसरल्लाह की मौत का जश्न मनाते  हुए लोग

उत्तरी सीरिया के इदलिब में वे ऐसे जश्न मना रहे हैं जैसे उन्होंने अभी-अभी विश्व कप जीता हो | नसरल्लाह और हिजबुल्लाह ने विद्रोह को कुचलने के लिए बशर अल-असद को 500,000 सीरियाई लोगों को मारने में मदद की | कई सीरियाई लोगों के लिए, नसरल्लाह शैतान था |

उदयनिधि डिप्टी सीएम बने:

तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम के स्टालिन ने 28 सितंबर को अपने पुत्र उदयनिधि स्टालिन को प्रदेश का डिप्टी सीएम घोषित कर दिया। यानी स्टालिन ने अपने पुत्र को मुख्यमंत्री बनने की लाइन में खड़ा कर दिया है। उदयनिधि के दादा करुणानिधि भी लंबे समय तक तमिलनाडु के मुख्यमंत्री रहे है। करुणा निधि के निधन के बाद ही उनके पुत्र एमके स्टालिन मुख्यमंत्री बने अब स्टालिन ने भी अपने पुत्र उदयनिधि को मुख्यमंत्री पद की डोर थमा दी है। यह उदयनिधि वही है जिन्होंने भारत के सनातन धर्म को नष्ट करने की बात कही थी।

गंभीर बात तो यह है कि उदयनिधि ने अपना यह बयान आज तक भी वापस नहीं लिया है। सनातन धर्म को नष्ट करने की सोच रखने वाले राजनेता जब संवैधानिक पदों पर विराजित होंगे तो भारत के हालातों का अंदाजा लगाया जा सकता है। यह भी गंभीर बात है कि जम्मू कश्मीर की पीडीपी और स्टालिन परिवार वाले डीएमके का कांग्रेस पार्टी से गठबंधन हैं।

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